खुशियों की दिवाली- जैनेन्द्र प्रसाद"रवि' - Teachers of Bihar

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Saturday 26 October 2019

खुशियों की दिवाली- जैनेन्द्र प्रसाद"रवि'

खुशियों की दिवाली


अब की बार फिर है आई खुशियों की दिवाली,
यह सबके जीवन में लाये समृद्धि, खुशहाली।
मिल-जुल कर सब साथ रहें बना रहे भाई चारा,
सबको पावन करती है जैसे गंगा की धारा।
आओ सबको गले लगाएं क्या राजा, रंक,मवाली,
यह सबके जीवन में लाये.....।
मजदूर-किसान हो एक समान, अथवा नेता या जनता,
ऊचँ-नीच के भेद बिना हो सबमें समता-समरसता।
सबके दामन मे खुशियाँ हो ,कोई रहे न खाली।
यह सबके जीवन में लाये.....।
हम महलों में जश्न मनाते, छोडते हैं फुलझडियाँ,
बगल में सुनसान रहती है गरीबों की झोपडियाँ ।
एक दीप हम वहाँ जलायें, जहाँ हों रातें काली।
यह सबके जीवन में लाये.....।
शिक्षा की ज्योति जलाकर हम सभ्य समाज बनायें ,
नफरत की दीवार गिरे और मिलकर मोद मनायें ।
नहीं हो कोई भूखा-नंगा, दूर हो सबकी बदहाली।
यह सबके जीवन में लाये समृद्धि, खुशहाली।

जैनेन्द्र प्रसाद"रवि'
म.वि बख्तियारपुर
पटना,बिहार

2 comments:

  1. बहुत ही सुंदर!

    विजय सिंह

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  2. बहुत ही अच्छा

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